सुनहरे सपने
देखे जाते हैं कुछ सुनहरे सपने
उगते सूरज से सुनहरे
जीवन के अपने, कुछ अपनों के
बुने जाते है ताने - बाने रंगों के
और फिर जीवंत हो उठती है कल्पना
सुन्दरतम अहसासों के साथ
धीमे - धीमे बढ़ते जाते
हमारे खवाबों के दायरे
आकार ले लेते पूनम की चाँद के
पूर्णता के साथ जीवन के स्वरुप को
ढाल देते नित नए साँचे में सुनहरे सपने ..............